Health Blog
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कुछ तो गडबड़ है, सिंगल क्यों है आखिर? कहीं हार्ट ब्रेक का मारा तो नहीं बेचारा..? अब तक मिस राइट नहीं मिली क्या..? कहीं गे तो नहीं..? कोई गंभीर हेल्थ प्रॉब्लम तो नहीं..? सिंगल और वह भी 30-40 पार का, अडो़सी-पडो़सी सहित पूरा समाज चिंतित होने लगता है। अकेली जिंदगी जीने वाला व्यक्ति ऐसी मनोरंजक किताब की तरह है, जिसे कलीग्स, पडोसियों से लेकर ड्राइवर-मेड-धोबी और कुक तक पढ़ना चाहते हैं और अपनी-अपनी समझ से कहानी के अर्थ निकालते-सुनाते हैं। अकेले रहना न तो सजा है और न इसमें कोई मजा है। कुछ लोग अपनी जिंदगी अपनी शर्तो पर जीना चाहते हैं और जीवन का उनके लिए अलग ही मज़ा है । Read More
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